‘सुरक्षा परिषद में सुधार जरूरी’, भारत दौरे पर आए UNGA अध्यक्ष डेनिस फ्रांसिस की दो टूक

0 33

संयुक्त राष्ट्र महासभा (यूएनजीए) के अध्यक्ष डेनिस फ्रांसिस ने कहा कि संयुक्त राष्ट्र का मौजूदा स्वरूप विश्व की बदलती जरूरतों के मुताबिक नहीं है और इसमें सुधार नितांत आवश्यक है।

संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (यूएनएससी) पिछले कुछ वर्षों में वैश्विक शांति और सुरक्षा को मजबूत करने के लिए फैसले लेने में असमर्थ रही है।

पांच दिवसीय भारत दौरे पर आए फ्रांसिस ने बुधवार को विदेश मंत्री एस जयशंकर के साथ द्विपक्षीय बैठक की और उसके बाद प्रेस कांफ्रेंस में अपनी ये बात रखी। वैसे भी फ्रांसिस का यह बयान तब आया है जब भारत की तरफ से यूएनएससी में सुधार की मांग लगातार हो रही है। फ्रांसिस ने कहा कि संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की मौजूदा संरचना दुनिया की समकालीन भूराजनीतिक वास्तविकता को नहीं दर्शाती। उन्होंने यूएनएससी में सुधार की पुरजोर वकालत की।

उन्होंने कहा कि सुरक्षा परिषद दूसरे विश्व युद्ध के बाद के हालात की स्थिति को दर्शाती है लेकिन अब यह स्थिति नहीं है। इसको लोकतांत्रिक बनाने की सख्त जरूरत है। उन्होंने कहा कि संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में सुधार की बात से कोई भी सदस्य इनकार नहीं कर सकता। इसका काम-धाम इसके स्थाई सदस्यों के बीच राजनीतिक विभेद की वजह से प्रभावित होता है।

फ्रांसिस ने कहा कि पहले यूक्रेन-रूस युद्ध और हाल ही में लाल सागर की तनावपूर्ण स्थिति, ये दोनों वैश्विक घटनाक्रम खतरनाक रहे हैं। खास तौर पर लाल सागर में अभी जिस तरह से तनाव बढ़ रहा है, वह क्षेत्रीय युद्ध में और बड़े वैश्विक युद्ध में भी तब्दील होने का खतरा पैदा कर सकता है। उन्होंने कहा कि लाल सागर की स्थिति एक खतरनाक मोड़ ले सकती है। स्थिति अभी बहुत ही तनावपूर्ण है। ऐसा लग रहा है कि लाल सागर में हुतियों की कार्रवाई में तीसरे देश से मदद मिल रही है।

इस हालात में क्षेत्रीय युद्ध में विस्तार कोई नहीं चाहता क्योंकि ऐसा होने से हालात और बिगड़ेंगे। उन्होंने यह भी चेतावनी दी कि आज की तारीख में दुनिया में पहले के मुकाबले ज्यादा खतरनाक हथियार हैं जो युद्ध की स्थिति को ज्यादा बिगाड़ सकते हैं। उधर, यूएनजीए अध्यक्ष फ्रांसिस ने इसके बाद राष्ट्रपति भवन में राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु से भी मुलाकात की।

Leave A Reply

Your email address will not be published.